देवेंद्र फडणवीस ने गुरुवार को महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। मुख्यमंत्री पद संभालने के बाद देवेंद्र फडणवीस ने भाजपा के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन को भारी जनादेश देने के लिए राज्य की जनता को आभार दिया। साथ ही उन्होंने कहा कि चुनाव के दौरान पीएम मोदी के नारे एक हैं तो सेफ हैं ने पूरी बाजी पलट दी। साथ ही फडणवीस ने कहा कि जिस तरह से चुनाव में भाजपा को जनादेश मिला, उसके बाद तय था कि मुख्यमंत्री भाजपा का ही होगा। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने एक मीडिया चैनल के साथ बातचीत में कहा कि हमारे प्रधानमंत्री ने ‘एक हैं तो सेफ हैं’ का नारा दिया था। इससे बहुत फायदा हुआ और यहां जो विभाजन की राजनीति चल रही थी, लोगों ने उसे पूरी तरह से नकार दिया। लोकसभा के जो नतीजे थे, उससे लोगों को आभास था कि गलती हुई, इसलिए लोग विधानसभा चुनाव में किसी बहकावे में नहीं आए और एकजुट होकर महायुति के लिए वोट किया। साथ ही हमने जो कल्याणकारी योजनाएं जैसे लाडकी बहिन योजना, किसानों के लिए योजना और युवाओं के लिए जो योजनाएं पेश कीं, उनकी वजह से सरकार के पक्ष में माहौल बना।
‘पहली बैठक से तय था कि मुख्यमंत्री भाजपा का होगा’
फडणवीस ने इस बात पर जोर देते हुए कहा कि महाराष्ट्र में 145 सीटों पर बहुमत है अकेले भाजपा ने 137 सीटों पर जीत दर्ज की। यह एक बहुत बड़ा जनादेश है और हमने तय किया कि मुख्यमंत्री भाजपा का ही होगा। महायुति के हमारे सहयोगियों ने भी इस बात को मान्यता दी कि यह महायुति के साथ ही भाजपा के लिए भी बड़ा जनादेश है। हमारी पहली बैठक में ही एकनाथ शिंदे ने ये बात मान ली थी। सीएम पद को लेकर शिवसेना की तरफ से हुई बयानबाजी पर फडणवीस ने कहा कि कई बार पार्टी के कार्यकर्ता चाहते हैं कि उनकी पार्टी का नेता सीएम बने, इसके चलते बयानबाजी हुई, लेकिन हमारे बीच इसे लेकर कोई संदेह नहीं था। फडणवीस ने ये भी बताया कि ‘एकनाथ शिंदे ने उनसे पूछा था कि क्या उन्हें डिप्टी सीएम पद लेना चाहिए? तो मैंने खुद उनसे कहा था कि उन्हें पद लेना चाहिए क्योंकि अगर पार्टी का शीर्ष नेता पद पर नहीं होगा तो उससे पार्टी भी कमजोर होती है।’ सीएम ने ये भी कहा कि इस बार अगर भाजपा का सीएम नहीं बनता तो इससे पार्टी के कार्यकर्ताओं में गलत संदेश जाता। देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि साल 2022 में जब एकनाथ शिंदे ने महा विकास अघाड़ी से नाता तोड़कर अलग शिवसेना बनाई थी तो उस वक्त उन्होंने बहुत बड़ा खतरा मोल लिया था क्योंकि उनका वह फैसला उनकी राजनीति को खत्म भी कर सकता था। इसलिए मैंने खुद उस वक्त शिंदे को सीएम बनाने का विचार दिया था ताकि उनके साथ आए विधायकों को यह विश्वास मिले कि वे सत्ता पर काबिज हैं। फडणवीस ने ये भी माना कि विधानसभा चुनाव में हिंदुत्व के मुद्दे से महायुति को फायदा मिला। उन्होंने कहा कि चुनाव में हिंदू समाज जाति के सारे भेद भुलाकर एक साथ आया और वोट किया। महाराष्ट्र सीएम ने कहा कि ‘बीएमसी चुनाव महायुति गठबंधन मिलकर चुनाव लड़ेगा, लेकिन स्थानीय निकाय चुनाव में स्थानीय पदाधिकारी तय करेंगे कि गठबंधन के साथ चुनाव लड़ना है या नहीं। उन्होंने कहा कि गठबंधन राजनीति महाराष्ट्र की विशेषता है और इससे कोई इनकार नहीं कर सकता।’