महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे सरकार के पतन के बाद भाजपा नेता अमित मालवीय ने महाविकास अघाड़ी गठबंधन व उसके कर्ताधर्ताओं पर तीन जुबानी तीर चलाए हैं। उन्होंने कहा कि इस पराजय से महाराष्ट्र के चाणक्य माने जाने वाले राकांपा प्रमुख शरद पवार, शिवसेना और उद्धव ठाकरे को बड़े झटके लगे हैं। अघाड़ी सरकार के पतन से जहां भाजपा व शिवसेना के बागी एकनाथ शिंदे गुट में खुशी का माहौल है, वहीं, गठबंधन में गम का। इस बीच, भाजपा की आईटी सेल के प्रमुख मालवीय ने ट्वीट कर इस हार से लगे आघातों का विश्लेषण किया। उन्होंने कहा कि असल में यह एमवीए के शिल्पकार शरद पवार के लिए सबसे बड़ा झटका है। वही इस गठबंधन सरकार के मुख्य रचनाकार थे।
उद्धव ने खराब की बाला साहेब की छवि
बकौल मालवीय उद्धव ठाकरे ने इस सियासी जंग में न केवल सीएम की कुर्सी गंवाई है, बल्कि बाला साहेब ठाकरे की विरासत भी खो दी। उन्होंने राकांपा व कांग्रेस के साथ बेमेल गठबंधन कर सरकार बनाई और बाला साहेब की छवि को भी नुकसान पहुंचाया। मालवीय ने कहा कि खबर थी कि उद्धव ने शिवसेना में बगावत के बाद दो बार इस्तीफा देने का प्रयास किया था, लेकिन शरद पवार ने उन्हें ऐसा करने से रोका था। भाजपा नेता ने कहा कि उद्धव ठाकरे सत्ता के मुखिया होकर भी सरकार पर नियंत्रण नहीं रख सके, जबकि उनके पिता बाला साहेब सत्ता में रहे बगैर सरकारों को नियंत्रित करते थे।
शिंदे की शिवसेना बाला साहेब की अनुयायी
शिवसेना के बागी गुट के नेता एकनाथ शिंदे ने कहा है कि उनका धड़ा असली शिवसेना होगा। वह किसी पार्टी में शामिल नहीं होगा, क्योंकि वे बाला साहेब के हिंदुत्व के सच्चे अनुयायी हैं। एक सप्ताह चले महाराष्ट्र में सियासी गतिरोध के दौरान बागी सूरत, गुवाहाटी के रास्ते अब गोवा पहुंच गए हैं। सूत्रों के अनुसार जल्द ही भाजपा नेता व पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व में महाराष्ट्र में भाजपा-शिंदे सेना की सरकार बन सकती है। बुधवार को सुप्रीम कोर्ट द्वारा विधानसभा में विश्वास मत हासिल करने के राज्यपाल के निर्देश को सही ठहराने के बाद उद्धव ठाकरे ने सीएम पद छोड़ दिया है। महाराष्ट्र के भाजपा प्रमुख चंद्रकांत पाटिल ने साफ कहा है कि भावी सरकार के बारे में फैसला फडणवीस व एकनाथ शिंदे लेंगे।