हिंदी सिनेमा की दिग्गज अभिनेत्री शबाना आजमी, राजकुमार संतोषी के निर्देशन में बन रही फिल्म ‘लाहौर 1947’ में नजर आएंगी। वे सनी देओल और प्रीति जिंटा के साथ काम करेंगी। अब हाल ही में एक कार्यक्रम के दौरान शबाना आजमी ने सेंट जेवियर्स में अपने दिनों, एफटीआईआई में अपने अनुभव और अपनी शुरुआती भूमिकाओं के बारे में बात की। शबाना ने बताया कि कैसे अपने करियर के 50वें साल में उन्हें एक बार फिर उस तरह की भूमिकाएं मिल रही हैं, जिसकी उन्होंने कभी उम्मीद नहीं की थी। स्टीवन स्पीलबर्ग की ‘हेलो’, शेखर कपूर की ‘व्हाट्स लव गॉट टू डू विद इट’ से लेकर ‘रॉकी और रानी की प्रेम कहानी’ और ‘घूमर’ तक उन्हें बेहतरीन किरदार मिल रहे हैं। शबाना आजमी ने उन्हें मिल रही भूमिकाओं को लेकर उत्साह जताया। उन्होंने कहा कि उन्होंने कहा कि मुझे इन भूमिकाओं में बहुत दिलचस्पी है। मेरे करियर के 50वें साल में साल में एक नया सिलसिला शुरू हो गया है, जो मेरे किरदार को लेकर है। मेरे करियर में दो साल के दौर में मुझे इतनी अच्छी और विविध भूमिकाएं मिलीं, जिसे पहले मैं कभी नहीं सोच सकती थी कि मुझे इतने अलग रोल मिलेंगे। मुझे लगता है कि मैं बहुत भाग्यशाली हूं। मैं जीवन के उसे पड़ाव पर हूं, जहां मुझे कोई भूमिका करने की जरूरत नहीं है, इसलिए जब मुझे कोई भूमिका चुनौतीपूर्ण लगती है तो मुझे महसूस होता है कि यह भूमिका खास है और उसपर मैं विश्वास करती हूं। फिर, मैं उसे किरदार को निभाने के लिए तैयार हो जाती हूं।
निर्देशकों को समझा गुरु
शबाना ने अपने करियर के अन्य किस्से भी साझा किए। जब श्याम बेनेगल ने उन्हें पहली बार एक साथ दो भूमिकाएं पेश कीं तो उन्होंने अपनी मां से कहा कि कोई फ्रॉड डायरेक्टर है और जब सत्यजीत रे ने उन्हें एक भूमिका की पेशकश की तो वे खुशी से झूम उठीं। उन्होंने बताया कि कैसे इन निर्देशकों ने उनकी कला और अभिनय की सराहना की और अभिनेत्री ने भी इन निर्देशकों से अभिनय की बारीकियां सीखीं। अपने सह कलाकारों के बारे में बात करते हुए शबाना को फारुख शेख की याद आ गई। शबाना ने बताया कि जब उन्होंने सेंट जेवियर्स कॉलेज में दाखिला लिया तो उन्हें पता चला कि कॉलेज में कोई हिंदी थिएटर कार्यक्रम नहीं है, इसलिए शबाना और फारूक शेख ने हिंदी नाट्य मंच बनाने का फैसला किया। फारूक शेख के साथ अपनी दोस्ती के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि फारूक से मेरी बेहद अच्छी दोस्ती थी। वे सेंट जेवियर्स कॉलेज में मेरे साथ थे। बाद में हमने अपने करियर में फिरोज खान द्वारा निर्देशित ‘तुम्हारी अमृता’ में एक साथ काम किया था।
करियर के 50वें साल में रोमांचक भूमिकाएं पाकर खुश हैं शबाना आजमी, अभिनेत्री ने साझा किए कई किस्से
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