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कोरोनाकाल में स्कूली शिक्षा में आई गिरावट, 2020-21 के दौरान केरल के जिलों ने किया सबसे शानदार प्रदर्शन

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शिक्षा मंत्रालय के स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग ने रविवार को 2020-21 और 2021-22 के लिए जिलों के प्रदर्शन क्रम सूचकांक (पीजीआई-डी) पर आधारित रिपोर्ट जारी की है। जिसमें स्कूली शिक्षा में जिलों के प्रदर्शन में कोरोना महामारी के दौरान उल्लेखनीय गिरावट देखी गई। वहीं, केरल के कोल्लम और तिरुवनंतपुरम जिले 2020-21 के दौरान स्कूली शिक्षा में सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाले जिले रहे, जबकि इसके बाद कन्नूर और त्रिशूर जिलों का स्थान रहा। जिलों के प्रदर्शन को अति उत्तम श्रेणी के तहत वर्गीकृत किया गया है, जो पीजीआई-डी की तीसरी सर्वश्रेष्ठ श्रेणी है। किसी भी जिले को उच्चतम ग्रेड वाली दो श्रेणियों – ‘दक्ष’ और ‘उत्कर्ष’ में जगह नहीं मिली है। सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाले जिलों में अधिकतर राजस्थान (26) के हैं और इसके बाद गुजरात (22) और पंजाब (19) के जिले हैं। दिल्ली के सभी नौ जिले अति उत्तम श्रेणी में हैं। शिक्षा मंत्रालय का स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग व्यापक विश्लेषण के उद्देश्य से एक सूचकांक तैयार कर जिला स्तर पर विद्यालयी शिक्षा प्रणाली के प्रदर्शन का आकलन करता है। भारतीय शिक्षा प्रणाली विश्व के सबसे बड़े शिक्षा तंत्रों में से एक है। इस प्रणाली में लगभग 14.9 लाख विद्यालय, 95 लाख शिक्षक और विभिन्न सामाजिक-आर्थिक पृष्ठभूमि के लगभग 26.5 करोड़ छात्र समाहित हैं। 2021-22 सूचकांक में शीर्ष दो ग्रेड दक्ष और उत्कर्ष में देश का कोई भी जिला नहीं है। प्री-कोविड इंडेक्स रिपोर्ट (2018-19) में उत्कर्ष में तीन जिले थे, जो सभी राजस्थान से थे। गुजरात एक और उदाहरण है जिसने ग्रेड में बड़ी गिरावट देखी है, 2020-21 में अति-उत्तम ग्रेड में 22 जिले थे, जो 2021-22 में घटकर तीन हो गए। कोविड महामारी के वर्ष में और एनएएस 2021 पर आधारित सीखने के परिणामों ने 2019-20 की तुलना में 2020-21 से 2021-22 के दौरान जिलों के प्रदर्शन को प्रभावित किया है। 2020-21 और 2021-22 के दौरान किसी भी जिले ने शीर्ष दो ग्रेड प्राप्त नहीं किए। हालांकि आगे अच्छा प्रदर्शन करने की उम्मीद है।

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