फिल्म अभिनेता आमिर खान का कहना है कि वह जैन धर्म से बहुत प्रभावित हैं। वे जैन समाज के अहिंसा, अपरिग्रह और अनेकांत में खुद यकीन करते हैं। उनका कहना है कि जैन समाज ने देश ही नहीं दुनिया को यह तीन महत्वपूर्ण सिद्धांत दिए हैं। इनका उनके जीवन पर बहुत ही गहरा प्रभाव पड़ा है। पिछले वर्ष सितंबर में भी आमिर खान के प्रोडक्शन हाउस ने अपने ट्विटर हैंडल पर एक क्लिप साझा की थी। इसमें `मिच्छामि दुक्कड़म` लिखते हुए जाने-अनजाने में हुई गलतियों को लेकर क्षमा भी मांगी थी। दरअसल, कुछ समय पहले अभिनेता आमिर खान फिल्म निर्माता महावीर जैन और वरिष्ठ आईआरएस अशोक कोठारी के साथ जैन समाज के प्रसिद्ध मुनि महेंद्र कुमार से मुलाकात करने पहुंचे थे। इस दौरान आमिर खान ने जैन दर्शन, अध्यात्म और विज्ञान के बारे में विस्तार से चर्चा की थी। इस दौरान फिल्म अभिनेता खान कहा था कि विज्ञान और अध्यात्म को एक करने के लिए सामंजस्य की जरूरत है। फिल्म निर्माता महावीर जैन का कहना है कि,आमिर खान स्वयं अनेकांतवाद (विभिन्न दृष्टिकोणों का सम्मान करना), अहिंसा और अपरिग्रह (केवल वही उपयोग करें जो आपको चाहिए) जैसे जैन सिद्धांतों की प्रशंसा करते हैं, और उनका अपने जीवन में पालन करते हैं। हाल ही में जैन तेरापंथ आचार्य महाश्रमण के शिष्य प्रो. मुनि महेंद्र कुमार का छह अप्रैल को मुंबई में देवलोकगमन हुआ। खान ने महान जैन संत वैज्ञानिक प्रो. डॉ महेंद्र कुमार को अपनी श्रद्धांजलि भी अर्पित की। 18 भाषाओं के जानकार मुनि महेंद्र कुमार को अकसर मानव कंप्यूटर कहा जाता था। उन्होंने कई विश्वविद्यालयों और अंतरराष्ट्रीय सम्मेलनों में अवधना विद्या, स्मृति शक्ति और मौखिक गणितीय गणना के दुर्लभ प्राचीन विज्ञान का प्रदर्शन किया था। उनकी पुस्तक ‘द एनिग्मा ऑफ यूनिवर्स‘ का विमोचन दिवंगत पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम ने किया। प्रसिद्ध वैज्ञानिक और प्रोफ़ेसर स्टीफ़न हॉकिंस के गुरु और संरक्षक सर रोजर पेनरोज़ की डॉक्टर महेंद्र कुमार से अकसर चर्चा हुआ करती थी। वह अंग्रेजी, जर्मन सहित आधुनिक भाषाओं और संस्कृत, प्राकृत, और पाली सहित प्राचीन भाषाओं के जानकार होने के अलावा भौतिकी, जीव विज्ञान, परामनोविज्ञान और ध्यान जैसे विविध विषयों के बहुमुखी विद्वान थे।
सोशल मीडिया के जरिए हर साल माफी मांगते हैं खान
पिछले वर्ष सितंबर में आमिर खान के प्रोडक्शन हाउस ने अपने ट्विटर हैंडल पर एक क्लिप साझा की थी। इसमें ‘मिच्छामि दुक्कड़म‘ लिखते हुए जाने-अनजाने में हुई गलतियों को लेकर क्षमा भी मांगी थी। आमिर खान हर साल ऐसा वीडियो पोस्ट करते है। वीडियो की शुरुआत ‘मिच्छामि दुक्कड़म‘ से होती है। जैन समुदाय भाद्रपद महीने में पर्युषण पर्व मनाते हैं। जैन धर्म में इस पर्व का महत्व दिवाली की तरह ही है। इसे क्षमावाणी पर्व, दशलक्षण पर्व और संवत्सरी भी कहा जाता है। श्वेताम्बर समुदाय आठ दिनों का पर्युषण पर्व मनाता है। जिसे ‘अष्टान्हिका‘ कहा जाता है। दिगंबर समुदाय 10 दिनों का पर्युषण पर्व मनाते हैं। इसे दशलक्षण पर्व कहा जाता है। इस पर्व के अंतिम दिन ‘मिच्छामी दुक्कड़म्‘ कहने की परंपरा है। आमतौर पर जैन समाज के लोग इस दिन जाने-अंजाने में हुई गलतियों के लिए एक-दूसरे माफी मांगते है।