आर्यन खान ड्रग्स केस मामले में जांच झेल रहे समीर वानखेड़े ने आरोप लगाया कि एनसीबी के के तत्कालीन उप निदेशक ज्ञानेश्वर सिंह ने एक पूछताछ के दौरान उन्हें अपमानित किया और परेशान किया क्योंकि वानखेड़े एक पिछड़े समुदाय से हैं। सीबीआई ने सुपरस्टार शाहरुख खान से अपने बेटे आर्यन खान को कोर्डेलिया क्रूज ड्रग भंडाफोड़ मामले में नहीं फंसाने के लिए कथित तौर पर 25 करोड़ रुपये की मांग के सिलसिले में गुरुवार को मुंबई में पूछताछ के लिए वानखेड़े को बुलाया था, लेकिन वानखेड़े एजेंसी की टीम के सामने पेश नहीं हुए। भारतीय राजस्व सेवा के अधिकारी ने पीटीआई-भाषा को फोन पर बताया कि उन्होंने अपने साथ हुए बर्ताव के खिलाफ केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण (कैट), राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग और मुंबई पुलिस से भी शिकायत की थी। क्रूज ड्रग भंडाफोड़ मामले में वानखेड़े को चार अन्य लोगों के साथ सीबीआई ने एक प्राथमिकी में नामजद किया है। प्राथमिकी एनसीबी के तत्कालीन उप निदेशक ज्ञानेश्वर सिंह की रिपोर्ट पर आधारित है, जिन्होंने एक विशेष जांच दल का नेतृत्व किया था। वानखेड़े ने कहा कि मेरे खिलाफ प्राथमिकी केवल इसलिए दर्ज की गई क्योंकि मैंने राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग में सिंह के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी। उन्होंने कहा कि मैंने दिल्ली में एससी आयोग में एक शिकायत दर्ज की थी, जिसमें ज्ञानेश्वर सिंह के खिलाफ मेरे खिलाफ अभद्र भाषा का इस्तेमाल करने के लिए प्राथमिकी दर्ज करने की मांग की गई थी, क्योंकि मैं एक पिछड़े समुदाय से था। समीर वानखेड़े ने कहा कि उन्होंने सिंह द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट के खिलाफ कैट से भी संपर्क किया था। उन्होंने कहा कि उन्होंने अगस्त 2022 में मुंबई के गोरेगांव पुलिस स्टेशन का भी दरवाजा खटखटाया था और सिंह के खिलाफ एससी-एसटी (अत्याचार निवारण) अधिनियम के तहत प्राथमिकी दर्ज करने की मांग की थी। हालांकि इस मामले में कोई प्राथमिकी दर्ज नहीं की गई है। वानखेड़े ने आरोप लगाया कि सिंह ने ड्रग मामले में आर्यन खान को पकड़ने में मदद करने के लिए उनके खिलाफ सीबीआई का इस्तेमाल किया। उन्होंने यह भी दावा किया कि उन्होंने कॉर्डेलिया से कथित नशीली दवाओं की जब्ती की जांच के बारे में अपने वरिष्ठों को हमेशा लूप में रखा था, और आर्यन को केवल उनके निर्देश पर हिरासत में रखा था।
आर्यन मामले में वानखेड़े के खिलाफ 22 तक कार्रवाई नहीं
केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने बुधवार को दिल्ली हाईकोर्ट को आश्वस्त किया कि वह नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के पूर्व जोनल निदेशक समीर वानखेड़े के खिलाफ 22 मई तक कोई दंडात्मक कार्रवाई नहीं करेगा। वानखेड़े अभिनेता शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान रिश्वत मामले में आरोपी हैं। सीबीआई की ओर से जस्टिस विकास महाजन को यह आश्वासन उनके वकील निखिल गोयल ने दिया। उन्होंने अदालत से कहा कि वानखेड़े सीबीआई को एक ई-मेल भेजकर 22 मई को पूछताछ में शामिल होने को कह सकते हैं। सीबीआई का यह आश्वासन वानखेड़े के हाईकोर्ट में एनसीबी के डिप्टी डीजी के खिलाफ एक क्रॉस-एफआईआर दर्ज करने की याचिका दाखिल करने के बाद आया है। वानखेड़े ने कोर्ट से आग्रह किया था कि उनके खिलाफ कोई दंडात्मक कार्रवाई नहीं की जाए। अदालत के समक्ष सीबीआई ने पहले क्षेत्राधिकार को लेकर आपत्ति जताई। उसने कोर्ट से कहा कि वानखेड़े को बंबई हाईकोर्ट के समक्ष अपना पक्ष रखना चाहिए। वानखेड़े के वकील ने इसके बाद याचिका वापस ले ली। ब्यूरो
एनसीबी के वरिष्ठ अधिकारी ने जाति को लेकर किया अपमानित, समीर वानखेड़े का दावा
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